RANCHI: आदिवासी चेहरे में सबसे बड़ा नाम खूंटी के विधायक नीलकंठ सिंह मुंडा का है।
आदिवासी या गैर आदिवासी चेहरे में फंसी पार्टी, व्यापक रणनीति पर भी हो रहा मंथन
रांची. भाजपा के नवनिर्वाचित एमएलए की रविवार को बैठक होगी। परंतु इस बैठक में विधायक दल का नेता नहीं चुना जाएगा। ऐसे में स्पष्ट है कि विधानसभा की बैठक में भाजपा किसी घोषित नेता के बगैर ही बैठेगी। विधायक दल का नेता आदिवासी हो या गैर आदिवासी, इसी पशोपेश में पार्टी फंसी है। आदिवासी चेहरे में सबसे बड़ा नाम खूंटी के विधायक नीलकंठ सिंह मुंडा का है, तो गैर आदिवासी चेहरे में रांची विधायक सीपी सिंह का नाम सबसे ऊपर है।
पूर्व ग्रामीण विकास मंत्री नीलकंठ मुंडा इस बार भाजपा के टिकट पर पांचवीं बार चुन कर विधानसभा में आए हैं। इसी प्रकार पूर्व विधानसभा अध्यक्ष और नगर विकास मंत्री रहे सीपी सिंह लगातार छठी बार भाजपा विधायक बने हैं। इस बाबत शनिवार को पूछे गए सवाल पर कि आखिर पार्टी दुविधा में क्यों है, प्रदेश महामंत्री दीपक प्रकाश ने कहा कि कोई दुविधा नहीं है। उचित समय पर उचित फैसले ले लिए जाएंगे। तो क्या पंचम विधानसभा के पहले सत्र में पार्टी विधायक दल का कोई नेता नहीं होगा, दीपक प्रकाश ने कहा कि इस बारे में शीघ्र निर्णय ले लिया जाएगा। हालांकि उन्होंने यह कहा कि रविवार को होनेवाली बैठक का विषय अलग है। इसमें विधायक दल का नेता नहीं चुना जाएगा।